सोमवार का आरंभ पंचक के साथ होगा. पंचक के होने से यह समय कई मायनों से खास होगा. पंचक की स्थिति सोमवार के दिन होने पर पूजा में विशेष नियमों को ध्यान देने की जरुरत होगी. ज्योतिष शास्त्र में कुछ ऐसे समय का वर्णन किया गया है जो बेहद अशुभ माने जाते हैं.
इनमें एक पंचक भी है लेकिन पंचक को कुछ शुभ भी माना गया है. इसलिए सावन के सोमवार का आरंभ चाहे पंचक से हो लेकिन पंचक का असर पूजन के फलों को वृद्धि देने वाला भी होगा. ज्योतिष अनुसार पंचक के दौरान सभी महत्वपूर्ण और शुभ कार्य वर्जित होते हैं,किंतु इस समय पर पूजा जप तप के कार्यों को शुभ माना गया है.
सावन सोमवार में कब तक रहेगा पंचक?
हर महीने में एक समय ऐसा आता है जब सभी प्रकार के शुभ कार्य वर्जित हो जाते हैं, पंचक उनमें से एक है. बता दें कि पंचक पांच दिनों की अवधि होती है, जिसमें मांगलिक कार्य, न करने तथा कुछ कामों की मनाही होती है.
इस वर्ष 10 जुलाई में सावन के पहले सोमवार पर पंचक का प्रभाव पड़ रहा है. पंचक पांच दिनों की वह अवधि है जिसमें शुभ कार्य वर्जित होते हैं. पंचक के दौरान विशेष नियमों का ध्यान रखना पड़ता है. पंचक हर महीने लगता है और इस दौरान विशेष नियमों का ध्यान रखना बहुत जरूरी होता है.
वैदिक पंचांग के अनुसार 06 जुलाई 2023, गुरुवार को दोपहर 01 बजकर 38 मिनट से पंचक के आरंभ होने का था और यह 10 जुलाई 2023, सोमवार को शाम 06 बजकर 59 मिनट पर होगा.
सोमवार को संध्या के सय इसकी समाप्ति होगी.
पंचक 10 जुलाई को खत्म हो रहा है और इसी दिन पवित्र सावन महीने का पहला सोमवार भी है. ऐसे में इस दिन भी पंचक का साया रहेगा. लेकिन भगवान शिव और गणेश जी की पूजा में पंचक मान्य नहीं होता है. इसका मतलब यह है कि इस दौरान पंचक का कोई अशुभ प्रभाव नहीं देने वाला होगा.
पंचक के दौरान इन बातों का रखें ध्यान
पंचक के दौरान विवाह, मुंडन, गृह प्रवेश आदि कार्य नहीं करने चाहिए. ऐसा करने से घर में नकारात्मकता बढ़ सकती है.
पंचक के दौरान घर की छत भी नहीं डालनी चाहिए. ऐसा करना हानिकारक हो सकता है.
इस दौरान दक्षिण दिशा की यात्रा करने से बचना चाहिए. अगर आपको ऐसा करना ही है तो कुछ कदम पीछे हटें और फिर से यात्रा शुरू करें.